दुद्धी, सोनभद्र। भाई-बहन के प्रेम का प्रतीक पर्व भैयादूज पर रविवार को बहनों ने गोधन कूटे। भाइयों को भला-बुरा कहने के बाद अपनी जीभ पर गुम भटकैया के कांटे चुभाकर पश्चाताप भी किया। भैया-दूज की पूजा के लिए शहर से ग्रामीण इलाके तक उत्सव जैसा माहौल नजर आया। नए परिधानों में सजी-धजी बहनों ने पूजा से पहले तक निर्जला व्रत रखकर भाइयों की लंबी उम्र की कामना की और भगवान गोवर्धन की पूजा के बाद भाइयों के माथे पर तिलक लगाकर उनका मुंह मीठा कराया। रुई से गोवर्धन पर्वत बनाकर पूजा की गई। गोधन कूटने की रस्म भी पूरी की गई। दुद्धी कस्बे के हर मुहल्ले के साथ साथ गांव के हर चौक पर महिला समूहों ने गोधन कूटने की रस्म निभाई। भगवान गोवर्धन को लाई, चूड़ा, चीनी की बनी घरिया व नारियल आदि चढ़ाया गया। फिर मूसल से ईंट पर सुपारी को कूटने के बाद गोट की पांच बार परिक्रमा कर पूजा संपन्न की। पूजा के बाद बहनों ने भाई के माथे पर तिलक लगाकर व मिष्ठान खिलाने के बाद बहनों ने जल ग्रहण कर व्रत का पारण किया। इसके बाद भाई बहनों ने एक दूसरे को उपहार दिए।
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