दुद्धी, सोनभद्र । जिला बनाओ संघर्ष मोर्चा ने शनिवार को जिला बनाओ विकास कराओ की आवाज जोरदार ढंग से बुलंद की।
पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के तहत शनिवार को अधिवक्ताओं ने न्यायिक कार्य से विरत रहकर कचहरी से जुलूस निकाल नारेबाजी करते हुए तहसील पहुंचकर प्रदर्शन किया और दुद्धी को जिला बनाओ विकास कराओ के नारे लगाए। वक्ताओं ने कहा कि भाजपा सरकार के खास नेताओं ने विस चुनाव में वादा किया था कि सरकार में आते ही दुद्धी को जिला बनाना है।लेकिन आज तक वादा खोखला ही साबित हुआ है। जनपद सोनभद्र के कैमूर पर्वत के दक्षिण भाग जो जिला दुद्धी जिला के लिए प्रस्तावित है, इसके अंतिम छोर की दूरी जिला मुख्यालय से 150 से 200 किलोमीटर है। जनपद को मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ व झारखंड की सीमाएं स्पर्श करती हैं। दुद्धी तहसील के 305 राजस्व ग्राम 84 तथा नवसृजित ओबरा तहसील के 84 राजस्व ग्राम सम्मलित है। तहसील के अंतर्गत 14 थाना तथा 5 विकास खंड कार्यालय कार्यरत है। आबादी 14 लाख तथा क्षेत्रफल 3380 किलोमीटर है। दुरूह क्षेत्र होने के साथ-साथ यहां प्राकृतिक संसाधनों की प्रचुरता है। शासकीय तथा गैर शासकीय राष्ट्रीय स्तर की कई फैक्ट्रियां हैं। देश की विद्युत आवश्यकताओं का 10% उत्पादन इसी क्षेत्र से होता है। शामली में 284, बागपत 287,हापुड़ में 331तथा गौतमबुध नगर में 381 राजस्व ग्राम होने के बाद भी जिले का दर्जा दे दिया गया। लेकिन दुद्धी को घोषणा के बाद भी जिला नही बनाया गया। ओबरा को तहसील, कोन को ब्लाक समेत कई नए थाने बनाये जाने के बाद भी दुद्धी को जिला घोषित न कर सरकार द्वारा वादाखिलाफी की जा रही हैै। वक्ताओं ने कहा कि जब तक दुद्धी को जिला नही बनाया जाता, तब तक यह आंदोलन जारी रहेगा।
नारेबाजी सुनकर तहसील प्रांगण में पहुंचे एसडीएम शैलेन्द्र कुमार मिश्रा व सीओ आशीष मिश्रा ने मांग को उच्चाधिकारियों तक पहुंचाने का आश्वासन दिया। इस अवसर पर मोर्चा के महासचिव प्रभु सिंह, प्रेमचंद यादव,अरुणोदय जौहरी,बलवंत सिंह, विष्णुकांत तिवारी,दिनेश कुमार, प्रेमचंद गुप्ता, अमरावती देवी सहित प्रधानगण व सैकड़ो लोग मौजूद रहे।
संघर्ष मोर्चा ने दुद्धी को जिला बनाने की आवाज की बुलन्द
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