अनपरा/सोनभद्र लोक आस्था का महा पर्व छठ पूजा का संध्या अर्घ्य अरंग दिया गया। इस अवसर पर व्रती श्रद्धालु सूर्यास्त के समय पानी के किनारे इकट्ठा होते हैं और डूबते हुए सूर्य को अर्घ्य देते हैं। इस दिन का महत्व विशेष होता है, क्योंकि इसे सूर्य देव और छठी मईया की आराधना का दिन माना जाता है, जिसमें श्रद्धालु पूजा की पारंपरिक सामग्री जैसे ठेकुआ, नारियल, गन्ना, और मौसमी फल अर्पित करते हैं।इससे पहले छठ पूजा की शुरुआत 5 नवंबर को नहाय-खाय से हुई थी, जिसमें व्रती शुद्धता के प्रतीक भोजन का सेवन करते हैं। इसके अगले दिन, 6 नवंबर को खरना मनाया गया, जिसमें व्रतधारी गुड़ की खीर का प्रसाद चढ़ाते हैं। शुक्रवार को सुबह उगते सूर्य को अर्घ्य देने के साथ छठ पर्व का समापन होगा।
छठ पूजा की यह परंपरा न केवल उत्तर भारत में, बल्कि विदेशों में भी बसे भारतीयों के बीच आस्था और प्रेम से मनाई जाती है।सांध्य के समय शक्तिनगर के मुख्य चिल्काझील छठ घाट, बीना कॉलोनी में राम सरोवर,अनपरा के दिव्य अर्जुन छठ घाट, रामनगर रेणुसागर सूर्य मंदिर घट घाट, गांधी नगर अनपरा कॉलोनी शिव मंदिर, वेंकट मोड़ छठ घाट,सहित अन्य 11 छठ घाट पर इस वार अनपरा नगर पंचायत द्वारा साफ सफाई दिव्य व भव्य सजावट,लाइट,सेल्फी,चेंजिंग रूम, मैटिंग,की गजब की पहले से ही इंतजाम नगर पंचायत अनपरा के अधिशासी अधिकारी अर्पना मिश्रा,चेयरमैन विश्राम प्रसाद जे ई, व कर्मचारियों ने किया था।इस अवसर पर अर्जुन छठ घाट पर कमेटी के सहयोग से रात्री को जागरण, व रेणुसागर में गंगा आरती का भी आयोजन किया गया। छठ घाट को पूजा देखने के लिए एनटीपीसी के मुख्य महाप्रबंधक बीना परियोजना के महाप्रबंधक रेनू सागर के यूनिट हेड आर पी सिंह,अनपरा परियोजना के मुख्य महाप्रबंधक जे पी कटियार कहुआ नाला अर्जुन छठ घाट के आरपीएल कंपनी के जी एम आर जी खंडेवाल समाजसेवी प्रदीप राय अतुल शाह प्रकाश यादव,दीपक सिन्हा ,महेंद्र यादव, माधवेंद्र सिंह,श्री प्रकाश श्री,सहित समाजसेवी घाटों पर पहुंचकर पूजा पाठ में लगातार सहयोग कर उनका मनोबल बढ़ाया।
डूबते सूर्य को अरंग देकर महिलाओं ने सूरज उपासना के महापर्व को नमन किया
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