पण्डित बाल गोविन्द मिश्र का निधन, विद्वान ब्राह्मण के जाने से हुई अपूर्णीय क्षति
विभिन्न संगठनों ने व्यक्त की गहरी शोक संवेदना
दुद्धी-सोनभद्र। स्थानीय कस्बे के निवासी लगभग 100 वर्षीय पण्डित बाल गोविंद मिश्र का आज प्रातः काल भोर में लगभग 3:00 बजे आकस्मिक मृत्यु हो गया जिससे उनके पूरे परिवार सहित शुभचिंतकों में शोक की लहर है। पंडित बाल गोविंद मिश्र एक विद्वान ब्राह्मण और पूजा पद्धति के अच्छे जानकार थे।लंबे समय तक उन्होंने श्री जय बजरंग अखाड़ा समिति दुद्धी के चैत रामनवमी नवरात्रि में पूजन का दायित्व संभाला। साथ ही दशहरा नवरात्रि में दुर्गा पूजा में भी वह पूजन कार्यक्रम को संपन्न कराते रहे हैं।आज पूरे दुद्धी समाज को उनकी कमी खलेगी और यह भी सत्य है कि उनकी कमी को कोई पूरा नहीं कर पाएगा।
पण्डित बाल गोविंद मिश्र के मृत्यु के समाचार पाने पर श्री रामलीला कमेटी के अध्यक्ष रविंद्र जयसवाल, संरक्षक मंडल में दिनेश आढ़ती, भोलानाथ आढ़ती, श्याम नारायण आढ़ती, नंदलाल एडवोकेट,देवनारायण जायसवाल, डॉक्टर राज किशोर सिंह, महामंत्री आलोक अग्रहरि कोषाध्यक्ष सुरेंद्र बिगऊ, दुर्गा पूजा समिति से रुपेश रुपेश जौहरी,प्रेम नरायण मोनू सिंह, सुजीत अग्रहरि, अनूप डायमंड भोलू जायसवाल, पीयूष कुमार एडवोकेट, जय बजरंग अखाड़ा समिति से अध्यक्ष कमलेश सिंह कमल, पूर्व अध्यक्ष कन्हैया लाल अग्रहरी, पूर्व महामंत्री सुरेंद्र होंडा, कोषाध्यक्ष कृपाशंकर गुड्डू, संरक्षक गोपाल प्रसाद रिटेलर, जामा मस्जिद के सदर मु.शमीम अंसारी, पूर्व सचिव ओबैदुल्लाह अंसारी सहित दुद्धी के तमाम धार्मिक और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने गहरा शोक व्यक्त किया है और ईश्वर से प्रार्थना की है की उन्हें चिर शांति मिले और उनका आशीर्वाद उनके सभी शुभचिंतकों को प्राप्त हो।
बतादें की पंडित बाल गोविंद मिश्र अपने पीछे अपने 1 पुत्र पंडित देवेंद्र नाथ मिश्र और अपने नाती नित्यानंद मिस्त्री सहित अपने भरे पूरे परिवार को छोड़ गए हैं। परिवार के सदस्यों का रो रो कर बुरा हाल है। नित्यानंद मिश्र का कहना है कि बाबा के ना रहने से हम लोगों को अब कौन मार्गदर्शन करेगा उनकी कमी हमें आजीवन खलेगी।